इस्राईली यहूदी लगातार मस्जिदुल अक़सा का कर रहे हैं अपमान

पवित्र आस्थाओं और हज़रत इब्राहीम मस्जिद की रक्षक कमेटी ने मस्जिदुल अक़्सा और हज़रत इब्राहीम मस्जिद के ज़ायोनियों की ओर से बारंबार अनादर की भर्त्सना की है।

पवित्र आस्थाओं और हज़रत इब्राहीम मस्जिद की रक्षक कमेटी ने मस्जिदुल अक़्सा और हज़रत इब्राहीम मस्जिद के ज़ायोनियों की ओर से बारंबार अनादर की भर्त्सना की है।

अलअख़बारिया के अनुसार, इस कमेटी ने सोमवार को अलख़लील वक़्फ़ के मुख्यालय में आपात बैठक आयोजित की।  इस बैठक में ज़ायोनी शासन के मस्जिदुल अक़्सा और हज़रत इब्राहीम मस्जिद पर हमले की भर्त्सना की गई।  इसी के साथ इस शासन को उस खुदाई के अंजाम की ओर से सचेत किया जिसके कारण मस्जिदुल अक़्सा और उसके आस-पास की कुछ इमारतों के कुछ हिस्से गिर सकते हैं।

पवित्र आस्थाओं और हज़रत इब्राहीम मस्जिद की रक्षक कमेटी ने कहा कि पुराने क़स्बे की नाकाबंदी, हज़रत इब्राहीम मस्जिद की ओर जाने वाले मार्गों का बंद होना, अज़ान के प्रसारण पर रोक और यहूदियों के त्योहरों के बहाने इस मस्जिद के दरवाज़ों को बंद करना, ज़ायोनी शासन के ग़ैर क़ानूनी क़दम हैं। इस कमेटी ने इसी तरह इस मस्जिद में फ़िलिस्तीनियों से भारी संख्या में दाख़िल होने की अपील है।

ज्ञात रहे सोमवार को अवैध कॉलोनियों में रहने वाले कुछ ज़ायोनियों ने, ज़ायोनी सैनिकों के इशारे पर पवित्र मस्जिदुल अक़्सा के प्रांगण पर धावा बोला था।

ज़ायोनी शासन आए दिन अज़ान की आवाज़ को यहूदियों के लिए पीड़ादायक होने के बहाने हज़रत इब्राहीम मस्जिद में लाउड स्पीकर से अज़ान नहीं होने देता।

अक्तूबर 2015 के शुरु से अतिग्रहित फ़िलिस्तीन के विभिन्न क्षेत्रों में ज़ायोनी शासन की अतिक्रमणकारी नीतियों, इस शासन के बैतुल मुक़द्दस की पहचान को बदलने और इस पवित्र स्थल के समय और स्थान की दृष्टि से विभाजन के षड्यंत्र के ख़िलाफ़, फ़िलिस्तीनियों का व्यापक प्रदर्शन जारी है।

ज़ायोनी शासन के अतिक्रमण और अपराध के कारण क़ुद्स इन्तेफ़ाज़ा शुरु हुआ है।

 

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